वह बन गया किलर को देखने उमड़ी भीड़
मल्टीप्लेक्स के बजाय सिंगल स्क्रीन पर सिनेमाप्रेमी आज भी मसाला एक्शन फिल्मों के दीवाने हैं । निर्माता निर्देशक अभिनेता धर्मेश मकवाना पिछले बीस वर्षों से फ़िल्मी दुनिया में संघर्षरत हैं । इस दौरान उन्होंने फिल्म निर्माण के हर पहलुओं पर बारीकी नज़र रखते आये हैं । कठोर संघर्ष और आर्थिक परेशानियों को झेलते हुए आख़िरकार उन्होंने ' वह बन गया किलर ' बना पाए । यह फिल्म मुम्बई महालक्ष्मी के सात रास्ता स्थित सिंगल थियेटर न्यू शिरीन में सात सप्ताह से भीड़ जुटा रही है । फिल्म के 50 वें दिन पर फिल्म के हीरो धर्मेश मकवाना दर्शकों के बीच जब उपस्थित हुए तो पूरा हॉल तालियों और सिटी से गूंज उठा । एक दर्शक के अनुसार काफी समय बाद ऐसी फिल्म आयी है जिसमें हीरो जुल्म होने से पहले घटनास्थल पर पहुँचकर गुंडों को पीटकर भगा देता है इससे मुझे बहुत आनंद आया क्योंकि आज हम अन्याय और अत्याचार से घिरे हुए हैं तो इस माहौल में वह बन गया किलर के हीरो को देखकर सुकून मिला है ।
धर्मेश मकवाना आगे भी ऐसी फिल्में बनाएंगे जिसमें हीरो जुल्मों का सफाया करता नज़र आएगा और बहन बेटियों की इज्जत की रक्षा करेगा ।
- संतोष साहू
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